यिर्मयाह 21
1. यह वचन यहोवा की ओर से यिर्मयाह के पास उस समय पहुंचा जब सिदकिरयाह राजा ने उसके पास मल्किरयाह के पुत्रा पशहूर और मासेयाह याजक के पुत्रा सपन्याह के हाथ से यह कहला भेजा कि,
2. हमारे लिये यहोवा से पूछ, क्योंकि बाबुल का राजा नबूकदनेस्सर हमारे विरूद्ध युठ्ठ कर रहा है; कदाचित यहोवा हम से अपने सब आश्चर्यकम के अनुसार ऐसा व्यवहार करे कि वह हमारे पास से उठ जाए।
3. तब यिर्मयाह ने उन से कहा, तुम सिदकिरयाह से यों कहो, इस्राएल का परमेश्वर यहोवा यों कहता है,
4. देखो, युठ्ठ के जो हथियार तुम्हारे हाथों में है, जिन से तुम बाबुल के राजा और शहरपनाह के बाहर घेरनेवाले कसदियों से लड़ रहे हो, उनको मैं लौटाकर इस नगर के बीच में इकट्ठा करूंगा;
5. और मैं स्वयं हाथ बढ़ाकर और बलवन्त भुजा से, और क्रोध और जलजलाहट और बड़े क्रोध में आकर तुम्हारे विरूद्ध लडूंगा।
6. और मैं इस नगर के रहनेवालों को क्या मनुष्य, क्या पशु सब को मार डालूंगा; वे बड़ी मरी से मरेंगे।
7. और उसके बाद, यहोवा की यह वाणी है, हे यहूदा के राजा सिदकिरयाह, मैं तुझे, तेरे कर्मचारियों और लोगों को वरन जो लोग इस नगर में मरी, तलवार और महंगी से बचे रहेंगे उनको बाबुल के राजा नबूकदनेस्सर और उनके प्राण के शत्रुओं के वश में कर दूंगा। वह उनको तलवार से मार डालेगा; उन पर न तो वह तरस खाएगा, न कुछ कोमलता दिखाएगा और न कुछ दया करेगा।
8. और इस प्रजा के लोगों से कह कि यहोवा यों कहता है, देखो, मैं तुम्हारे साम्हने जीवन का मार्ग और मृत्यु का मार्ग भी बताता हूँ।
9. जो कोई इस नगर में रहे वह तलवार, महंगी और मरी से मरेगा; परन्तु जो कोई निकलकर उन कसदियों के पास जो तुम को घेर रहे हैं भाग जाए वह जीवित रहेगा, और उसका प्राण बचेगा।
10. क्योंकि यहोवा की यह वाणी है कि मैं ने इस नगर की ओर अपना मुख भलाई के लिये नहीं, वरन बुराई ही के लिये किया है; यह बाबुल के राजा के वश में पड़ जाएगा, और वह इसको फुंकवा देगा।
11. ओर यहूदा के राजकुल के लोगों से कह, यहोवा का वचन सुनो,
12. हे दाऊद के घराने ! यहोवा यों कहता है, भोर को न्याय चुकाओ, और लुटे हुए को अंधेर करनेवाले के हाथ से छुड़ाओ, नहीं तो तुम्हारे बुरे कामों के कारण मेरे क्रोध की आग भड़केगी, और ऐसी जलती रहेगी कि कोई उसे बुझा न सकेगा।
13. हे तराई में रहनेवाली और समथर देश की चट्टान; तुम जो कहते हो कि हम पर कौन चढ़ाई कर सकेगा, और हमारे वासस्थान में कौन पवेश कर सकेगा? यहोवा कहता है कि मैं तुम्हारे विरूद्ध हूँ।
14. और यहोवा की वाणी है कि मैं तुम्हें दण्ड देकर तुम्हारे कामों का फल तुम्हें भुगताऊंगा। मैं उसके वन में आग लगाऊंगा, और उसके चारों ओर सब कुछ भस्म हो जाएगा।